इन्फोपत्रिका. गेहूं में चौड़ी पत्ती वाले खरपतवार (broadleaf weed control in wheat) बहुत बड़ी मात्रा में उगने लगे हैं. इनमें से कुछ घास बहुत अड़ीयल हैं और वे 2-4डी और अलग्रिप से खत्म नहीं होते. मकोह, हिरणखुरी, बटन बूटी जैसे घास बहुत अडियल हैं. इनको समाप्त करने के लिए carfentrazone-ethyl 40% + metsulfuron-methyl 10% प्रयोग किसानों को करना चाहिए. तो आइये जानते हैं कि कैसे काम करती है ये दवा और कौन से घास को मारती है.
लेन्फिडा नाम से बाजार में है उपलब्ध, Lanfida for broadleaf weed control in wheat
carfentrazone-ethyl 40% + metsulfuron-methyl 10% को ड्यूपोंट (Dupont) कंपनी लेन्फिडा (LANFIDA) नाम से बाजार में बेचती है. साधारण शब्दों में कहे तो लेन्फिडा में दो दवाएं मिली हुई हैं. एक है अलग्रिप, Algrip (metsulfuron-methyl 10%) और दूसरी है एफिनिटी, Affinity (carfentrazone-ethyl 40%). मशहूर जर्नल रिसर्चगेट में छपे एक शोधपत्र के अनुसार गेहूं में चौड़ी पत्ती वाले खरपतवार के नियंत्रण के लिए carfentrazone-ethyl 40% + metsulfuron-methyl 10% बहुत प्रभावी है. अगर सावधानीपूर्वक इसका छिड़काव किया जाए तो गेहूं पर कोई प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ता.
कौन से घास को मारती है ये दवा
carfentrazone-ethyl 40% + metsulfuron-methyl 10% गेहूं में सभी तरह के चौड़ी पत्ती वाले घास पर प्रभावी नियंत्रण करती है. यह बाथू, मैना, जंगली पालक, गाजर घास, हिरणखुरी, मकोह, सैंजी, बन मैथी कृष्णनील सहित लगभग सभी घास को मारती है.
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एक एकड़ में छिड़काव के लिए लेन्फिडा 20 ग्राम काफी है. इसे 150 लीटर पानी में मिलाकर छिड़काव करना चाहिए. घोल अच्छी तरह बनाना चाहिए और खेत में एक समान स्प्रे करनी चाहिए. अगेती बोई गेहूं में बुआई के 25 से 30 दिन तक इसका छिड़काव कर देना चाहिए. अगर बुआई दिसंबर में की गई है तो खरपतवारों के उगाव और बढाव को देखकर स्प्रे करनी चाहिए. आमतौर पर जब खरपतवार 3-4 पत्तों के हो जाते हैं तब स्प्रे किया जाना चाहिए.
carfentrazone-ethyl 40% + metsulfuron-methyl 10% का छिड़काव करते समय एक जगह रूकना नहीं चाहिए और न ही एक स्थान पर दो बार छिड़काव करना चाहिए. अगर ज्यादा दवा एक जगह होगी तो गेहूं को हानि होने की संभावना रहती है. अगर पास में सरसों, चना या बरसीम जैसी फसलें हैं तो उनको इस दवा के स्प्रे से बचाना चाहिए क्योंकि यह इन फसलों के लिए हानिकारक है.
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